Saturday 16 December 2017

राहुलयुग हुआ शुरू, अब बदलेंगे कांग्रेस के सितारे गुरू


 नमस्कार दोस्तों, आप सबके बीच आया हूं फिर से। आज हमारे लेख में कांग्रेस के नये राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी जी का जिक्र करेंगे।

आज राहुल गांधी ने कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष के तौर पर पदग्रहण किया। पदग्रहण समारोह मे राहुल गांधी ने अपने इरादे दर्शा दिये कि आगे की लड़ाई अहिंसा मार्ग पर चल हिंसा को उखाड़ फेंकेगे। राहुल गांधी के संबोधन मे मुख्य तौर सत्ताधारी बीजेपी और हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी निशाने पर थे। राहुल गांधी ने कहा कि वो आग लगाने वाले हैं हम आग बुझाने वाले हैं। राहुल गांधी ने अध्यक्ष का पद ग्रहण करते ही दर्शा दिया कि अब बुलंद हौंसलों के संग ऊंची उड़ान होगी, सत्ताधारी दल की ऊंची उड़ान के पर काटकर उनको जमीं पर लाया जायेगा।


राहुल गांधी ने साफ तौर इशारा कर दिया है कि बुजुर्गों का मार्गदर्शन पाकर युवाओं के हाथों सत्ता सौंपी जायेगी। ये लड़ाई अब सत्ताधारी दल से नही ब्लकि उसकी कट्टरवादी विचारधारा से है। राहुल गांधी ने अपने संबोधन से दर्शा दिया कि अब जनता की आवाज सरकार के कानों तक गूंजेगी। उस गूंज का शंखनाद आज कांग्रेस कार्यालय से राहुल गांधी को अध्यक्ष पद सौंपते ही आरंभ हो गया। आज सिर्फ राहुल गांधी का पद ग्रहण समारोह नही था ब्लकि आज नरेन्द्र मोदी को चेतावनी वाला समारोह था कि अब लड़ाई आर-पार की होगी, अब लड़ाई अहिंसा की हिंसा से होगी, देश को आग में झोंकने वाली ताकतों की आग बुझाने वाली होगी।

राहुल गांधी के पदभार संभालते ही हर प्रदेश में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष बदलने की खबरें भी चलने लगी हैं। सबने अंदेशा लगा ही लिया है कि "अब आगाज नया हो चुका है, जो बीता है वो बीत चुका है, अब ना कोई गलती चलेगी, अब ना कोई मलाल होगा, जिसको लेनी है ऊबासीयां लेता रहे अब पद उनका हलाल होगा, अब देश की सत्ता पलटेगी जो सोचते हैं खुद की तानाशाही की लंबी उम्र उनकी सत्ता पलट होकर उनके लिये अजब ही कमाल होगा"

कुछ ऐसी पंक्तियों के संग राहुल गांधी के अध्यक्ष पद का आगाज हो चुका है। अब किसी नेता की कोई गलती स्वीकार्य नही होगी। मणिशंकर अय्यर के गलत बयान के विरोधस्वरूप मणिशंकर अय्यर को पार्टी से निष्कासित कर इस नये आगाज की आहट का अहसास राहुल गांधी जी ने करवा दिया था। जो पदाधिकारी अब तक पद पर रहकर ऊबासीयां ले रहे थे उनको भी पद से बर्खास्त कर नये मेहनती जुझारू साथियों को मौका मिलेगा।

राहुल गांधी के अध्यक्ष बनते ही बीजेपी की नींदें उड़ गई हैं क्योंकि अब उनकी सत्ता को पलटने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी आ रहे हैं। अब राहुल गांधी अपने सभी फैसलों को अपने अनुसार असरकारक बना सकेंगे। अब राहुल गांधी कांग्रेस के डूबे हुये सितारों को सफलता के आसमान मे फिर से चमका सकेंगे।
गुजरात चुनावों मे जीत हो चाहे हार हो लेकिन राहुल गांधी का बदलता रूप व रूख नरेन्द्र मोदी के लिये खतरे की घंटी है। ये घंटी गुजरात चुनाव के नतीजों से पहले ही बज चुकी है। राहुल गांधी के बदलते अंदाजे-रूख ने दर्शा दिया है "अब जंगे-लड़ाई का अंदाज बदल चुका है, अब इस चेहरे का अंदाज बदल चुका है, दुश्मनों के लिये खतरे की घंटी का शंखनाद हो चुका है"

इन्हीं अंतिम पंक्तियों के संग विदा लेता हूं सब मित्रों से।



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